नई दिल्ली. महज तीन साल में जियो को दूसरी आरआईएल बना चुके मुकेश अंबानी अब नया दांव खेल रहे हैं। खबर है कि वे स्ट्रीमिंग कंपनी नेटफ्लिक्स के साथ टाईअप करने की योजना रहे हैं। इसके लिए मुकेश अंबानी की मीडिया कंपनी नेटवर्क 18 नेटफ्लिक्स के साथ बात कर रही है। इसके तहत दोनों के बीच कई सालों की भागीदारी होगी और बाद में भारतीय दर्शकों के लिए कंटेंट को सोर्स किया जाएगा।
नेटफ्लिक्स की लोकप्रियता तेजी से बढ़ी
कोरोना संकट से निपटने के लिए लागू लाॅकडाउन के दौरान नेटफ्लिक्स की लोकप्रियता तेजी से बढ़ी है। इसके चलते नेटफ्लिक्स की कमाई बढ़ने के साथ ही उसके सब्सक्राइबर बेस में बेतहाशा इजाफा दर्ज किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2020 की पहली तिमाही में नेटफ्लिक्स के सब्सक्राइबर्स की संख्या में करीब 1.6 करोड़ की वृद्धि हुई है। नेटफ्लिक्स के कुल 18.2 करोड़ सब्सक्राइबर हैं। यह दुनिया के किसी भी एंटरटेनमेंट सर्विस के मुकाबले कहीं ज्यादा हैं।
नेटफ्लिक्स की सर्विस का बढ़ेगा दायरा
इस पार्टनरशिप के तहत नेटवर्क-18 नेटफ्लिक्स के लिए प्रोग्राम्स और शो को प्रोड्यूस करेगी और पूरे देश में अपना विस्तार करेगी। माना जा रहा है कि डील के तहत रिलायंस नेटफ्लिक्स के लिए 10 शो प्रोड्यूस कर सकती है। नेटफ्लिक्स की बातचीत वायकॉम-18 से हो रही है जो नेटवर्क-18 के साथ जॉइंट वेंचर में है। वायकॉम-18 रिलायंस जियो की सब्सिडियरी कंपनी है। इससे नेटफ्लिक्स की सर्विस का दायरा बढ़ेगा और नेटवर्क-18 को रेवेन्यू बढ़ाने का मौका मिलेगा।
पिछले हफ्ते जियो ने की थी डिज्नी के साथ भागीदारी
पिछले हफ्ते ही जियो ने अपने ग्राहकों के एंटरटेनमेंट को ध्यान में रखते हुए डिज़्नी+ हॉटस्टार के साथ पार्टनरशिप की थी। इसके तहत प्रीपेड ग्राहकों को 1 साल के लिए इसका सब्सक्रिप्शन फ्री दिया जाएगा। कंपनी के अनुसार 1 साल के लिए डिज़्नी+ हॉट्स्टार VIP का सब्सक्रिप्शन (Disney+ Hotstar VIP) का फायदा पाने के लिए मंथली या सालाना पैक के साथ डाटा ऐड ऑन वाउचर का इस्तेमाल कर सकते हैं।
डिजिटल कंटेंट कारोबार में मजबूत तैयारी
रिलायंस इंडस्ट्रीज के जियो प्लेटफॉर्म को लगातार नए निवेशक मिल रहे हैं। जियो प्लेटफॉर्म में अब तक कुल 9 कंपनियों को हिस्सेदारी बेची गई है। इसमें प्रमुख रूप से फेसबुक, सिल्वर लेक, विस्टा इक्विटी पार्टनर्स, जनरल अटलांटिक, केकेआर, मुबादला, एडीआईए और टीपीजी का समावेश है। यह निवेश 22 अप्रैल से शुरू हुआ जिसमें फेसबुक ने 9.99 प्रतिशत के साथ सबसे पहले और सबसे ज्यादा हिस्सेदारी खरीदा।