फेसबुक विवाद पर आज संसदीय समिति में चर्चा, सोशल मीडिया कंपनी के प्रतिनिधियों से सवाल-जवाब

Posted By: Himmat Jaithwar
9/2/2020

फेसबुक मुद्दे पर राजनीतिक घमासान के बीच संसद की एक समिति बुधवार को बैठक करेगी और इस सोशल मीडिया मंच के कथित दुरुपयोग को लेकर चर्चा करेगी। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर की अध्यक्षता वाली सूचना प्रौद्योगिकी मामलों की स्थायी समिति ने फेसबुक के प्रतिनिधियों को तलब किया है और यह नागरिक अधिकारों की रक्षा के विषय और सोशल मीडिया मंच के कथित दुरुपयोग पर उनके विचार सुनेगी।

वहीं, सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने जुकरबर्ग को तीन पन्नों का पत्र लिखकर कहा कि फेसबुक के कर्मचारी चुनावों में लगातार हार का सामना करनेवाले लोगों और प्रधानमंत्री और वरिष्ठ कैबिनेट मंत्रियों को कथित ''अपशब्द'' कहने वालों का समर्थन कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि फेसबुक इंडिया टीम में बैठे लोग पक्षपात के मामलों की शिकायत के बावजूद कोई जवाब नहीं देते।

समिति ने फेसबुक से संबंधित मुद्दे पर इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के प्रतिनिधियों को भी तलब किया है। समिति की बैठक मंगलवार को होनी थी, लेकिन यह पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के निधन के कारण राष्ट्रीय शोक के चलते बुधवार के लिए टाल दी गई।

कांग्रेस ने कुछ अंतरराष्ट्रीय मीडिया समूहों की खबरों का हवाला देते हुए मंगलवार को फेसबुक और भाजपा के बीच 'साठगांठ होने का आरोप फिर लगाया और दावा किया कि भारत के लोकतंत्र एवं सामाजिक सद्भाव पर किया गया 'हमला बेनकाब हुआ है। मुख्य विपक्षी दल ने यह भी कहा कि इस पूरे प्रकरण की तत्काल जांच होनी चाहिए और दोषी पाए जाने पर लोगों को दंडित किया जाना चाहिए।

पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने अमेरिकी अखबार 'वॉल स्ट्रीट जर्नल की हालिया खबर को ट्विटर पर साझा करते हुए सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने दावा किया, ''अंतरराष्ट्रीय मीडिया ने भारत के लोकतंत्र और सामाजिक सद्भाव पर फेसबुक एवं व्हाट्सऐप के खुलेआम हमले को बेनकाब कर दिया है।''

कांग्रेस नेता ने कहा, ''किसी भी विदेशी कंपनी को भारत के आंतरिक मामलों में दखल की अनुमति नहीं दी जा सकती। उनकी तत्काल जांच होनी चाहिए और अगर वे दोषी पाए जाते हैं तो उन्हें दंडित किया जाना चाहिए। थरूर ने इस मुद्दे पर कहा कि समिति 'वॉल स्ट्रीट जर्नल की हालिया खबर के बारे में फेसबुक से सुनना चाहेगी।

भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने थरूर के बयान को लेकर आरोप लगाया कि कांग्रेस अपने राजनीतिक एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए फेसबुक का इस्तेमाल कर रही है। उन्होंने थरूर को समिति के अध्यक्ष पद से हटाने की मांग की।



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